Guest Post by the group THE MOCKING BIRDS
आज की रात न फ़ुट-पाथ पे नींद आएगी
सब उठो, मैं भी उठूँ तुम भी उठो, तुम भी उठो
कोई खिड़की इसी दीवार में खुल जाएगी
ये ज़मीं तब भी निगल लेने पे आमादा थी
पाँव जब टूटती शाख़ों से उतारे हम ने
उन मकानों को ख़बर है न मकीनों को ख़बर
उन दिनों की जो गुफाओं में गुज़ारे हम ने ( कैफ़ी आज़मी )
सच है इस लॉक डॉउन में हमने लगभग गुफाओं में दिन गुजारे है, कुछ आब ला पा सड़क पर दर ब दर है, कुछ ऐसे है जो इस फानी दुनिया से चले गए, ऐसा लगता है जैसे उनको इस आगत का इलहाम हो गया था आज के ग़म का, और जल्द ही चले गए …. फ़ैज़ से कुछ पंक्तियां लेकर
Continue reading Paean – A Song for Triumphs, For Usha Ganguly and Irrfan Khan: The Mocking Birds